MP ke Pramukh Udyog । मध्‍यप्रदेश के प्रमुख उद्योग

‘मध्‍यप्रदेश औद्योगिक विकास निगम’ की स्‍थापना 1965 ई. में हुई थी। इसी तारतम्‍य में 04 औद्योगिक विकास केन्‍द्रों इन्‍दौर, जबलपुर, रीवा व ग्‍वालियर की स्‍थापना की गई। MP ke Pramukh Udyog विकास को गति प्रदान करने के उद्देश्‍य से 1990 ई. में प्रदेश के 45 जिलों में से 6 जिलों को विकसित वर्ग में रखा गया था शेष पिछडे जिलों को तीन वर्गों में बांटा गया। प्रमुख वर्गीकरण निम्‍नानुसार है-

क्र.स्थितिप्रमुख जिले
1विकसित जिलेभोपाल, इन्‍दौर, ग्‍वालियर, उज्‍जै, जबलपुर व दुर्ग।
2पिछड़े जिलेवर्ग– होशंगाबाद, देवास, मंदसौर, खण्‍डवा, रतलाम, मुरैना, सतना, विदिशा व शहडोल। ‘ब’ वर्ग- सिवनी, सीहोर, सागर, दमोह, गुना, नरसिंहपुर, छिंदवाडा, बालाघाट व बैतूल। ‘स’ वर्ग- शाजापुर, शिवपुरी, दतिया, झाबुआ, रीवा, रायसेन, मंडला, खरगोन, टीकमगढ़, पन्‍ना और धार।

MP ke Pramukh Udyog

मध्‍यप्रदेश में उद्योगों का अधिकतम विकास द्वितीय पंचवर्षीय योजना के दौरान हुआ।  द्वितीय पंचवर्षीय योजना में मध्‍यप्रदेश में भिलाई लौह-इस्‍पात कारखाना, भारत हैवी इलेक्ट्रिकल्‍स भोपाल, पावर एल्‍कोहल प्‍लाण्‍ट रतलाम, कॉटन सीड सालवेन्‍ट एक्‍सट्रेक्‍ट प्‍लाण्‍ट, उज्‍जैन, कॉटन स्पिनिंग मिल, सनावद और ग्‍वालियर में इण्‍डस्ट्रियल एस्‍टेट्स की स्‍थापना की गई।

प्रदेश में ‘सूक्ष्‍म लघु एवं मध्‍यम उद्योग विकास अधिनियम-2006’  मुख्‍यत: 02 अक्‍टूबर 2006 को लागू किया गया। इसके साथ ही राज्‍य को विकसित और पिछड़े जिलों में विभाजित किया गया। जो कि इस प्रकार हैं-

क्र.स्थितिप्रमुख जिले
1विकसित जिलेभोपाल, इन्‍दौर एवं जबलपुर ।
2पिछड़े जिलेवर्ग– कटनी, खण्‍डवा, मंदसौर, मुरैना, रतलाम, शहडोल, उज्‍जैन, विदिशा, नीमच, उमरिया, हरदा व श्‍योपुर। ‘ब’ वर्ग- होशंगाबाद, बैतूल व सीहोर। ‘स’ वर्ग- बालाघाट, भिण्‍ड, छतरपुर, दमोह, दतिया, धार, गुना, झाबुआ, खरगोन, बड़वानी, मण्‍डला, डिण्‍डौरी, नरसिंहपुर, पन्‍ना, रायसेन, राजगढ़, रीवा, सिवनी, शाजापुर, शिवपुरी, सीधी, टीकमगढ़, सागर, छिंदवाड़ा व ग्‍वालियर।

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मध्‍यप्रदेश में ‘राज्‍य कृषि उद्योग विकास निगम’ की स्‍थापना 21 मार्च, 1969 ई. को भारत व मध्‍यप्रदेश सरकार के सहयोग से की गई थी। इसका प्रमुख उद्देश्‍य राजय में कृषि उत्‍पादन में वृद्धि के लिये आधुनिक तकनीक उपलब्‍ध करवाना और कृषि आधारित उद्योगों का विकास करना है। मध्‍यप्रदेश में कृषि आधारित प्रमुख उद्योग निम्‍नलिखित हैं-

  1. सूती वस्‍त्र उद्योग-
    • ‘इंदौर’ को मध्‍यप्रदेश के सूती वस्‍त्र उद्योग का केन्‍द्र कहा जाता है। यहां पर सूती वस्‍त्र की सर्वाधिक मिलें हैं।
    • प्रदेश की प्रथम सूती वस्‍त्र मिल बुरहानपुर में 1906 ई. में स्‍थापित की गई थी।
    • मालवा मिल, इन्‍दौर की स्‍थापना 1907 ई. में की गई थी।
  2. चीनी उद्योग-
    • वर्ष 1934 में मध्‍यप्रदेश में प्रथम चीनी मिल की स्‍थापना रतलाम के जावरा में की गई थी।
    • वर्ष 2017 में मध्‍यप्रदेश के दतिया जिले में मॉ पीताम्‍बरा चीनी मिल की स्‍थापना की गई है।
    • मध्‍यप्रदेश की अन्‍य प्रमुख चीनी मिलें- जीवाजी सुगर मिल, मंदसौर, कैलारस सुगर मिल, मुरैना, सेठ गोविंद दास सुगर मिल, उज्‍जैन, और भोपाल सुगर मिल, सीहोर आदि।
  3. सोयाबीन तेल उद्योग-
    • सोयाबीन’ के उत्‍पादन में मध्‍यप्रदेश का प्रथम स्‍थान है।
    • अकेले प्रदेश में कुल देश का 82 प्रतिशत से अधिक सोयाबीन का उत्‍पादन हो रहा है।
  4. रेशन उद्योग-
    • मध्‍यप्रदेश में रेशम संचालनालय का गठन 1 सितंबर, 1984 को किया गया
    • प्रदेश में ‘मंडला’ रेशम उत्‍पादन का प्रमुख जिला है।
    • मलबरी स्‍वावलंबन योजना के द्वारा मलबरी रेशम का विकास एवं विस्‍तार कार्यक्रम चलाया जा रहा है।

प्रमुख सीमेंट कारखाने-

मध्‍यप्रदेश में सीमेंट का प्रथम कारखाना एसीसी कम्‍पनी के द्वारा मुरैना जिले के बानमौर में 1922 ई. में स्‍थापित किया गया था।

क्र.सीमेंट उद्योगस्‍थापना वर्षक्षेत्र
1बानमौर सीमेंट फैक्‍ट्री  1922बानमौर, मुरैना।
2पोर्टलेण्‍ड सीमेंट कारखाना1923कैमूर के निकट, कटनी
3सतना सीमेंट वर्क्‍स1959सतना
4मैहर सीमेंट कारखाना1980सतना
5नीमच सीमेंट उद्योग1980नीमच
6मालनपुर सीमेंट वर्क्‍स1984मालनपुर, भिण्‍ड
7नयागांव सीमेंट उद्योग1982मंदसौर
8जावद सीमेंट कारखाना1986शिवपुरी
9दमोह सीमेंट वर्क्‍स1983दमोह
10जे.पी. सीमेंट रीवा
11प्रिज्‍म सीमेंट सतना
    

मध्‍यप्रदेश के अन्‍य उद्योग

क्र.प्रमुख उद्योगविवरण
1मोटर कार उद्योगप्रदेश का ‘डेट्राइट’ धार जिले में स्थित पीथमपुर को कहा जाता है।
2कृत्रिम रेशा उद्योग प्रमुख क्षेत्र नागदा, इंदौर, ग्‍वालियर, उज्‍जैन व देवास।
3जूट उद्योगसतना व अमलाई।
4बीड़ी उद्योगराज्‍य में कुल 280 कारखानें हैं, जो मुख्‍यत: जबलपुर में केंद्रित है।
5लाख उद्योगमख्‍य कारखाना ‘उमरिया’ में।
6कत्‍था उद्योगशिवपुरी व बानमौर, मुरैना में।
7दियासलाई कारखानाग्‍वालियर में।
8 हैण्‍डलूम क्‍लस्‍टरचंदेरी में।
9भारी विद्युत उपकरणभोपाल में जो कि 1960 ईं में ब्रिटेन क सहयोग से संचालित।
10प्रथम रत्‍न परिष्‍कृत केन्‍द्रजबलपुर में ।
11आप्‍टिकल फाइबर कारखानामण्‍डीदीप, रायसेन जिले में जापान के सहयोग से संचालित।

MP ke Pramukh Udyog  से संबंधित प्रमुख तथ्‍य-

  • सूती धागा उत्‍पादित करने वाला कारखाना, सनावद कताई मिल खरगोन जिले के सनावद में स्थित है।
  • हिंदुस्‍तान कॉपर प्रोजेक्‍ट बालाघाट जिले के ‘मलाजखण्‍ड’ में स्थित है।
  • रेलवे कोच फैक्‍ट्री भोपाल के ‘निशांतपुरा’ में स्थित है, जिसका निर्माण 1960 ई. में किया गया था ।
  • नेशनल न्‍यूज प्रिंट एवं अखबारी कागज बनाने का कारखाना राज्‍य के ‘नेपानगर’ में स्थित है।
  • ग्रे आयरन फाउण्‍ड्री, जो कि कच्‍चे लोहे से संबंधित है, ‘जबलपुर’ में स्थित है।
  • स्प्रिट, एल्‍कोहल और कार्बनडाई आक्‍साइड से संबंधित कारखाना ‘रतलाम’ जिले में स्थित है, जिसका निर्माण 1963 ई. में किया गया था।
  • चीनी के बर्तन बनाने का कारखाना मध्‍यप्रदेश के ‘ग्‍वालियर’ में स्थित है।
  • रंगाई, विरंजन त‍था परिष्‍करण से संबधित क्‍लेंडरिंग प्‍लांट मध्‍यप्रदेश के ‘उज्‍जैन’ में स्थित है।
  • मध्‍यप्रदेश हस्‍तशिल्‍प विकास निगम की स्‍थापना 1981 ई. में की गई थी।
  • अपेरल पार्क मध्‍यप्रदेश के ‘इंदौर’ में स्थित है।
  • ‘सूक्ष्‍म, लघु एवं मध्‍यम उद्योग विभाग’ की स्‍थापना मध्‍यप्रदेश सरकार द्वारा 05 अप्रैल 2016 को की गई थी।
  • भोपाल में स्थित ‘भारत हैवी इलैक्ट्रिकल लिमिटेड’ को वर्ष 1991 में सार्वजनिक उपक्रम व वर्ष 2013 में महारत्‍न कंपनी का दर्जा दिया गया था।
  • मध्‍यप्रदेश के ‘सागर’ जिले में बीना के समीप भारत पेट्रोलियम कारपोरेशन एवं ओमान रिफाइनरी द्वारा भारत-ओमान रिफाइनरी लिमिटेड की स्‍थापना ओमान देश के सहयोग से की गई है।
  • इस रिफाइनरी का शिलान्‍यास 15 दिसंबर 1995 को देश के प्रधानमंत्री पीवी नरसिंहाराव द्वारा किया गया था।
  • तथा इसका उद्घाटन 20 मई 2011 को प्रधानमंत्री मनमोहन सिहं द्वारा किया गया था।

और अधिक पढ़े- मध्‍यप्रदेश में परिवहन।

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